प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना (PM Vishwakarma Yojana) भारत सरकार द्वारा शुरू की गई एक महत्वाकांक्षी पहल है, जिसका उद्देश्य पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को आधुनिक ट्रेनिंग, वित्तीय सहायता और मार्केट लिंकेज प्रदान करना है। इस योजना का फोकस खासकर उन कारीगरों पर है जो बढ़ई, लोहार, सुनार, कुम्हार, दर्ज़ी, नाई आदि पारंपरिक व्यवसायों से जुड़े हुए हैं। यह योजना न केवल कारीगरों की कौशल क्षमता बढ़ाती है, बल्कि उन्हें रोजगार के अवसर भी प्रदान करती है।
प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना के तहत 2025 में भारतभर में 3,715 से अधिक ट्रेनिंग सेंटर स्थापित किए गए हैं, जहां कारीगरों को नि:शुल्क स्किल ट्रेनिंग दी जाती है। इन ट्रेनिंग सेंटर्स का उद्देश्य पारंपरिक व्यवसायों से जुड़े कारीगरों को आधुनिक टूल्स और तकनीकों से प्रशिक्षित करना है।
PM Vishwakarma Training Center List 2025 कैसे चेक करें?
अगर आपने PM Vishwakarma Scheme के तहत आवेदन किया है या Training Centers की लिस्ट चेक करना चाहते हैं, तो नीचे दिए गए स्टेप्स को फॉलो करें:
Step-by-Step Process
- आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं: सबसे पहले PM Vishwakarma योजना की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं। होमपेज पर Dashboard का ऑप्शन दिखाई देगा, उस पर क्लिक करें।
- Training Center का चयन करें: डैशबोर्ड पर Training Center का विकल्प मिलेगा। इसे सेलेक्ट करने के बाद आपको अपना राज्य, जिला, और ट्रेनिंग सेंटर का प्रकार (जैसे कि बढ़ई, लोहार आदि) चुनना होगा।
- Focus Mode पर क्लिक करें: स्क्रीन के नीचे Focus Mode बटन दबाएं। इसके बाद आपके जिले के सभी ट्रेनिंग सेंटर की पूरी लिस्ट खुल जाएगी।
- लिस्ट डाउनलोड या प्रिंट करें: आप इस लिस्ट को PDF में डाउनलोड कर सकते हैं या प्रिंट आउट निकाल सकते हैं, जिसमें प्रत्येक ट्रेनिंग सेंटर का नाम, पता, संपर्क नंबर और ईमेल आईडी शामिल होगा।
PM Vishwakarma Training Centers 2025: राज्यवार आंकड़े
2025 में जारी की गई लिस्ट के अनुसार, कर्नाटक में सबसे अधिक 1,287 ट्रेनिंग सेंटर हैं। यहां कुछ प्रमुख राज्यों के आंकड़े दिए गए हैं:
राज्य | ट्रेनिंग सेंटर की संख्या |
---|---|
कर्नाटक | 1,287 |
महाराष्ट्र | 816 |
राजस्थान | 712 |
उत्तर प्रदेश | 653 |
मध्य प्रदेश | 661 |
गुजरात | 572 |
असम | 437 |
जम्मू और कश्मीर | 412 |
नोट: उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश और पूर्वोत्तर राज्यों में भी ट्रेनिंग सेंटर हैं, लेकिन उनकी संख्या थोड़ी कम है।
PM Vishwakarma Yojana के लाभ
- मुफ्त स्किल ट्रेनिंग: कारीगरों को बेसिक और एडवांस्ड ट्रेनिंग के दौरान ₹500 प्रति दिन का स्टाइपेंड मिलता है।
- टूलकिट इंसेंटिव: ट्रेनिंग शुरू होते ही ₹15,000 का ई-वाउचर दिया जाता है।
- किफायती लोन: 1 लाख रुपये तक का लोन पहले किश्त में और 2 लाख रुपये तक दूसरी किश्त में @5% ब्याज दर पर।
- डिजिटल ट्रांजैक्शन इंसेंटिव: प्रत्येक लेनदेन पर ₹1 का बोनस (मैक्सिमम ₹100/महीना)।
- ब्रांड प्रमोशन: GeM पोर्टल पर प्रोडक्ट्स की लिस्टिंग और मार्केटिंग सपोर्ट।
पात्रता मापदंड
- आयु: 18 वर्ष या अधिक।
- व्यवसाय: 18 निर्धारित पारंपरिक व्यवसायों में से कोई एक (जैसे बढ़ई, लोहार, सुनार आदि)।
- पारिवारिक सदस्य: एक परिवार से केवल एक सदस्य ही इस योजना का लाभ ले सकता है।
- लोन हिस्ट्री: पिछले 5 वर्षों में केंद्र/राज्य सरकार की किसी योजना का लोन न लिया हो।
ट्रेनिंग प्रक्रिया और अवधि
- बेसिक ट्रेनिंग (5-7 दिन): इसमें बुनियादी कौशल और टूल्स का उपयोग सिखाया जाता है।
- एडवांस्ड ट्रेनिंग (15+ दिन): इसमें मॉडर्न टेक्नीक, क्वालिटी कंट्रोल, और मार्केटिंग स्ट्रैटेजी पर फोकस किया जाता है।
- सर्टिफिकेशन: ट्रेनिंग पूरी करने पर PM Vishwakarma सर्टिफिकेट और आईडी कार्ड प्रदान किया जाता है।
निष्कर्ष
PM Vishwakarma Yojana कारीगरों के लिए एक शानदार अवसर है, जो न केवल उनके कौशल को बढ़ावा देती है बल्कि उन्हें वित्तीय सहायता और मार्केट लिंकेज भी प्रदान करती है। यदि आप इस योजना का लाभ उठाना चाहते हैं, तो अपने जिले के Training Center की लिस्ट चेक करें और आवेदन करें। इस योजना से जुड़ी सभी जानकारी और अपडेट्स के लिए आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं।